Saturday, October 5, 2019

बहाने

                        image source =Google
           

       ये जो हंसी के पीछे गम छुपा रखे हैं,
       मेने दुश्मनों को भी अपने बना रखे हैं

       वक़्त के तकाजे पर सपने बुन रखे हैं,
       उम्मीदों की नींव पर आसियानै बना रखे हैं

       हर तरफ खुशी ही खुशी है हवाओ में '
       एक मेने ही दुखी रहने के बहाने बना रखे हैं

       तु एक मुझसे ही तो बात नहीं करती,
        वर्ना कोन जाने तूने कितने ही दीवाने बना रखे है

        शायरी ना शोंक है ना पेशा किसी का,
        सबने अपने सुख - दुख ब्यां करने के तरीके बना रखे हैं

        तेरी खुशी के लिए दिल से मांग रहे हैं दुआ,
        और इसी दिल में तेरे दिए दर्दों के लिए तहखाने बना रखे हैं

         तु दूर जा कर सोच रहा होगा खुश रहते हैं हम,
         तुझे क्या खबर हमने मरने वाले हाल बना रखे हैं

      अब इतनी देर भी ना लगा आने में की हमारा वक़्त रुक जाए,
       वेसे हमने भी अपनी घड़ी के सेल फालतू मंगा रखे हैं

                              ✍️ Ashwini

20 comments:

  1. शायरी ना शोंक है ना पेशा किसी का,
    सबने अपने सुख - दुख ब्यां करने के तरीके बना रखे हैं
    बहुत खूब अश्विनी |प्रयास जारी रखिये , जल्द ही और अच्छा लिखने लगेंगे |

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    1. बहुत बहुत धन्यावाद रेणु जी 🙏

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  2. अतिसुंदर है आप की शायरी


    आप इस दुनिया में सबसे आगे जाओ गे
    आप इसे ही शायरी लिखते रहे हमारी मनोकामना आप के साथ h आश्वनी ।।।।।।।।

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    1. बहुत बहुत धन्यावाद Luhani जी .. आपकी शुभकामनायें मुझमे साहस बनाए रखेगी 🙏

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  3. व्वाहहहह..
    बेहतरीन..
    सादर..

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  4. अति उत्तम भाई

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  5. ईश्क का होना भी
    लाजमी है शायरी के लिए
    अगर कलम लिखती
    दफ्तर का बाबु गालिब होता

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  6. बहुत अच्छा लिखते हो आप
    हमें हमेशा आपकी नई रचना का इंतजार रहेगा
    आपको शुभकामनाएं

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    1. नयी रचना का सर्जन करना एक नयी सोच को दिमाग में उपजा कर उसे शब्दों में पिरोना मात्र ही है

      आपका आभार रमन जी 🙏

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  7. "तु एक मुझसे ही तो बात नहीं करती,
    वर्ना कोन जाने तूने कितने ही दीवाने बना रखे है"..... बेबाक़ी से कही गई बात में कई दफ़ा सच्चाई भी होती है। अच्छा प्रयास ... भाई मैं भी कोई बड़ा साहित्यकार या स्थापित ब्लॉगर नहीं हूँ ... आपकी ही तरह मेरी कई वर्तनियाँ, लिंग-दोष रहता है। आप सुधार लो तो ठीक, वर्ना मन जे उदगार बस यूँ ही लिखते जाओ, कोई पोस्ट पर आये ना आये, कोई बात नहीं ... शुभकामनायें ...

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    1. बहुत बहुत धन्यावाद... सुधार की ओर प्रयासरत हूं श्री मान 🙏

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  8. अच्छी रचना है ...
    प्रयास जारी रखियेगा ... स्पेलिंग पे ध्यान जरूर दीजिये ...

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    1. जी जरूर वर्तनी सुधारने की तो आवश्यकता मुझे भी दिख रही

      मार्गदर्शन के धन्यवाद 🙏

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  9. वाह पहली बार पढ़ा आपको बहुत अच्छा लगा...!!

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    1. आपका तहेदिल से धन्यवाद संजय जी 🙏

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